श्रीझंडेजी के आरोहण के साथ आज से दून का ऐतिहासिक मेला शुरू हो जाएगा। सुबह से ही श्रीझंडेजी के आरोहण के लिए दरबार साहिब में आस्था का सैलाब उमड़ पड़ा। सुबह सात बजे से पूजा की प्रक्रिया शुरू हुई और झंडे जी पर गिलाफ चढ़ाने का काम शुरू हो गया है। इस बार पंजाब के होशियारपुर निवासी हरभजन सिंह पुत्र हरीसिंह को दर्शनी गिलाफ चढ़ाने का अवसर मिला है। मेले को लेकर देशभर से कई संगतें दून पहुंची हैं। दोपहर बाद श्रीझंडेजी के आरोहण की प्रक्रिया शुरू होगी। श्रीमहंत देवेंद्र दास महाराज ने कहा कि जो व्यक्ति गुरु के बताए मार्ग पर चलता है, उसे पृथ्वी पर ही स्वर्ग की अनुभूति हो जाती है। इस दौरान संगतों ने श्रीगुरुराम राय महाराज के शबद का सिमरन किया।
श्रीझंडेजी मेले से पूर्व शुक्रवार को दरबार साहिब से पूरब की संगतों की विदाई की गई। मेले के सह व्यवस्थापक विजय गुलाटी ने बताया कि मेले की परंपरा के अनुरूप श्रीझंडेजी के आरोहण से पहले पूरब की संगत को पगड़ी, ताबीज व प्रसाद वितरित कर विदा किया गया। श्रीझंडेजी के आरोहण से पूर्व श्रीदरबार साहिब में और दून की सड़कों पर श्रद्धालु उमड़ पड़े। श्रीदरबार साहिब से स्कूल-कॉलेज की संगतें लगातार पहुंचती रहीं। सहारनपुर रोड पर कई जगह भंडारे आयोजित किए गए। इनमें बड़ी संख्या में संगतों ने प्रसाद ग्रहण किया। आज मेले के दौरान श्रीदरबार साहिब में आठ बड़े और चार छोटे लंगर लगाए जाएंगे।
करीब एक सप्ताह पहले ही दून में संगतें पहुंचनी शुरू हो गई थीं। दून में श्रीगुरुराम राय के आठ से अधिक स्कूलों में इन संगतों के ठहरने की व्यवस्था की गई है। ऐतिहासिक मेले के लिए पंजाब, हरियाणा, यूपी के साथ ही देश के कोने-कोने से संगतें पहुंची हैं। श्रीझंडेजी मेले के दौरान श्रीदरबार साहिब परिसर में पांच एलईडी स्क्रीन लगाई गई है। इसके साथ ही सोशल मीडिया पर श्रीझंडेजी के आरोहण और इसकी प्रक्रिया का लाइव प्रसारण किया जा रहा है।
सुबह सात बजे से श्रीझंडेजी को उतारा गया।
– 9 बजे श्रीझंडेजी को स्नान कराया गया।
– 10 बजे से गिलाफ चढ़ाने की प्रक्रिया शुरू हुई। पहले सादा गिलाफ, फिर शनील का गिलाफ और सबसे बाद में दर्शनी गिलाफ चढ़या जाएगा।
– दोपहर एक बजे तक शनील गिलाफ चढ़ाया जाएगा।
– दोपहर 2 से 4 बजे तक श्रीझंडेजी का आरोहण होगा।